शिमला। मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने आज विधानसभा में 2021-22 के लिए 50,192 करोड़ रुपये का बजट पेश किया। बजट में अर्थव्यवस्था के लिए वी शेप्ड रिकवरी पर फोकस रहेगा।
बजट के प्रमुख बिंदु
- महिला कल्याण और सशक्तिकरण
- सामाजिक सुरक्षा विस्तार
- स्वास्थ्य सेवाओं का सुदृढ़ीकरण एवम् विस्तार
- किसानों की आय में वृद्धि
- स्वर्ण जयन्ती आश्रय योजना
- रोज़गार सृजन
- औद्योगिक विकास व आधारभूत ढाँचे पर बल
- शिक्षा में गुणवत्ता
1. महिला कल्याण और सशक्तिकरण
‘‘स्वर्ण जयन्ती नारी सम्बल योजना’’ के अन्तर्गत 65-69 वर्ष की वरिष्ठ महिलाओं को एक हजार रुपये प्रति माह सामाजिक सुरक्षा पेंशन जिस पर 55 करोड़ रुपये कीअतिरिक्त राशि व्यय की जायेगी।
‘‘शगुन“ नाम से नई योजना का शुभारम्भ। इसके अन्तर्गत अनुसूचित जाति, जनजाति तथा अन्य पिछड़ा वर्ग के बीपीएल परिवारों की बेटियों को विवाह के समय 31 हज़ार रुपये का अनुदान। योजना पर 50 करोड़ रुपये खर्चे जायेंगे।
बीपीएल परिवारों को दो लड़कियों तक अब 21 हज़ार रुपये की पोस्ट बर्थ ग्रांट फिक्स डिपोजिट के रूप में दी जाएगी।
स्वयं सहायता समूह के लिये पहल। अनेक योजनायें घोषित।
हिमाचल गृहिणी सुविधा योजना के अन्तर्गत 3 लाख परिवारों को गैस रिफ़िल अगले वर्ष भी दिया जाएगा।
136 पुलिस थानों में महिला सहायता डेस्क स्थापित होगा।
पुलिस में आरक्षी एवम् उप-निरीक्षक के लिये चरणबद्ध समय में 25 प्रतिशत पद महिलाओं के लिए आरक्षित।
बैंकिंग सेवायें प्रदान करने हेतु 250 महिलाओं को बैंक कररेस्पोंडेंट सखी के रूप में अधिकृत किया जाएगा।
2. सामाजिक सुरक्षा में विस्तार
40 हज़ार अतिरिक्त लाभार्थियों को अगले वर्ष सामाजिक सुरक्षा पेंशन। इस पर 60 करोड़ रुपये खर्चे जायेंगे।
वर्तमान सरकार के कार्यकाल में अब तक 6 लाख 60 हजार लोग सामाजिक सुरक्षा पेंशन के दायरे में लाये गये हैं जिस पर 1,050 करोड़ रुपये खर्चे जाएंगे।
3. स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार
आईजीएमसी में पेट स्कैन की सुविधा, टांडा मेडिकल काॅलेज में सिटी स्कैन तथा एमआरआई मशीनें तथा हमीरपुर व नाहन मेडिकल काॅलेज में सिटी स्कैन मशीनें लगाई जाएंगी। इनके लिये 70 करोड़ रुपये खर्च किये जायेंगे।
चमयाना के सुपर स्पेशलिटी अस्पताल, आईजीएमसी के ओपीडी ब्लॉक तथा ट्राॅमा सेंटर का शुभारंभ किया जाएगा।
70 वर्ष से अधिक आयु के हिमकेयर लाभार्थियों तथा बाल आश्रमों में रह रहे अनाथ बच्चों को हिमकेयर में अंशदान से छूट।
कक्षा छः से दसवीं तक के सभी सरकारी स्कूलों के बच्चों की आँखों की जाँच एवं निशुल्क चश्मा प्रदान करने के लिए ”मिशन दृष्टि“ आरम्भ करना।
कुपोषण की समस्या के निदान के लिये नीति आयोग, भारत सरकार की भागीदारी से अध्ययन करवाया जाएगा।
आयुष्मान भारत, हिम केयर, मुख्यमन्त्री चिकित्सा सहायता कोष, निशुल्क दवाईयाँ, सहारा योजना, सम्मान योजना, निक्षय पोषण योजना सहित अन्य कल्याणकारी योजनाओं पर प्रदेश सरकार 2021-22 में 250 करोड़ रुपये से अधिक व्यय करेगी।
4. किसानों की आय में वृद्धि
उच्च घनत्व पौधे उचित दाम पर उपलब्ध करवाने के लिए नई ”स्वर्ण जयन्ती समृद्ध बागवान“ योजना।
‘‘कृषि उत्पाद संरक्षण (एंटी हेलनेट) योजना’’ में बजट की बढ़ौतरी। इस पर 60 करोड़ रुपये खर्चे जायेंगे।
कृषि और बागवानी विश्वविद्यालयों में अनुसन्धान प्रोत्साहित करने के लिए दोनों विश्वविद्यालयों के लिए 5 करोड़ रुपये का अनुसन्धान कोष स्थापित किया जाएगा।
विश्व बैंक की बागवानी विकास परियोजना के अन्तर्गत पाँच लाख पौधों का आयात।
‘‘प्राकृतिक खेती-खुशहाल किसान योजना’’ के अन्तर्गत 50 हज़ार नये किसान परिवारों को जोड़ा जाएगा।
दूध खरीद मूल्य 2 रुपये प्रति लीटर की दर से बढ़ाया गया।
कृषि एवम् सम्बन्धित क्षेत्र में योजनाओं को पुनर्भाषित करने तथा किसानों/बागवानों की आय को दोगुना करने के लिए एक्सपर्ट ग्रुप गठित किया जाएगा।
5. स्वर्ण जयन्ती आश्रय योजना/अनुसूचित जाति कल्याण
‘‘स्वर्ण जयन्ती आश्रय योजना’’ के अन्तर्गत 12 हज़ार लाभार्थियों को मूलभूत सुविधाओं से परिपूर्ण आवास देने का लक्ष्य निर्धारित।
2022 तक अनुसूचित जाति वर्ग के सभी पात्र आवेदकों को घर की सुविधा।
6. रोज़गार सृजन
‘‘मुख्यमन्त्री स्वावलम्बन योजना’’ का विस्तार और बजट में बढ़ौतरी-100 करोड़ रुपये का व्यय होगा।
रोजगार मेलों व कैम्पस साक्षात्कारों के माध्यम से 7,000 बेरोजगारों को निजी उद्योगों में रोज़गार।
2021-22 में सरकार का 30,000 (तीस हजार) से अधिक पदों को भरने का लक्ष्य।
स्वास्थ्य विभाग में विभिन्न श्रेणियों के 4,000 (चार हजार) पद;
शिक्षा विभाग में शिक्षकों के 4,000 (चार हजार) पद; शिक्षा विभाग में 8,000 मल्टी टास्क पार्ट टाइम वर्कर्स; लोक निर्माण विभाग में 5,000 मल्टी टास्क पार्ट टाइम वर्कर्स तथा जल शक्ति विभाग में 4,000 पैरा फिटर, पम्प ऑपरेटर तथा मल्टी टास्क पार्ट टाइम वर्कर्स के पद भरेंगे।
इनके अतिरिक्त सरकार विभिन्न विभागों में खाली फंक्शनल पदों को भरेगी जिनमें पुलिस कर्मी, बिजली बोर्ड के तकनीकी पद, एचआरटीसी में ड्राईवर एवं कण्डक्टर, कनिष्ठ अभियन्ता, सहायक अभियन्ता, राजस्व विभाग के कर्मी, पशुपालन विभाग के डाॅक्टर व कर्मी, शहरी निकायों के लिए स्टाफ, पंचायतों के लिए तकनीकी सहायक और ग्राम रोजगार सहायक, तकनीकी शिक्षा विभाग में विभिन्न श्रेणियों के अध्यापक एवं इंस्ट्रक्टर आदि शामिल हैं।
कौशल विकास भत्ता व औद्योगिक कौशल विकास भत्ता योजना-2018 के अन्तर्गत अब ऑनलाइन पंजीकरण।
7. औद्योगिक विकास व आधारभूत ढाँचे पर बल
अटल सुरंग पर (दोनों ओर) पर्यटकों की सुविधा के लिए पार्किंग, वे साइड अमेंटीज़ की स्थापना।
लोक निर्माण विभाग में सड़कों के बेहतर रख-रखाव के लिये 5,000 पार्ट टाईम मल्टी टास्क वर्कर्स रखे जाएंगे।
10,000 करोड़ रुपये के एमओयू की नई ग्राऊंड ब्रेकिंग की तैयारी।
ऊना जिला में ड्रग पार्क की स्थापना का प्रस्ताव।
नालागढ़ में मेडिकल डिवाईस पार्क का प्रस्ताव।
नालागढ़ में इलैक्ट्रोनिक्स और पाॅवर इक्युपमेंट हब का प्रस्ताव।
खिलौना क्लस्टर स्थापित किये जायेंगे।
प्रधान मन्त्री ग्राम सड़क योजना के अन्तर्गत 3,125 किलो मीटर मुख्य ग्रामीण सड़कों का उन्नयन।
140 किलोमीटर सड़कों पर वी मेटल बीम क्रैश बैरियर लगाए जाएंगे।
2022 तक 40,000 किलोमीटर सड़के बनाने का लक्ष्य।
ब्लैक टॉप सड़कें जो अभी 30,244 किलोमीटर लम्बी हैं, 2022 तक 34,000 किलोमीटर कर दी जाएगी।
2021-22 के दौरान प्रदेश में दो हज़ार किलोमीटर मैटलिंग एण्ड टाॅरिंग, 1 हज़ार किलोमीटर वाहन योग्य सड़कों का निर्माण, 945 किलोमीटर सड़कों पर क्राॅस ड्रेनेज, 80 पुलों का निर्माण, 90 गांवों को सड़क सुविधा, 8 सौ किलोमीटर सड़कों का उन्नयन तथा 2 हज़ार 200 किलोमीटर सड़कों का नवीनीकरण किया जाएगा।
शिमला और धर्मशाला में स्मार्ट सिटी के तहत अनेक योजनायें शुरू और जनता को समर्पित की जायेंगी।
नव गठित सोलन, पालमपुर तथा मण्डी नगर निगमों को एक-एक करोड़ रुपये तथा 7 नई नगर पंचायतों को 20-20 लाख रुपये विशेष अनुदान।
प्रदेश में अनेक मल निकासी योजनाओं पर तीव्रता से काम किया जाएगा।
स्वर्ण जयन्ती ऊर्जा नीति लाई जाएगी।
बिजली की गुणवत्ता में सुधार के लिये अनेक कदम।
पर्यटन उद्योग को पटरी पर लाने के लिये मल्टी मीडिया पब्लिसिटी कैंपेन शुरू किया जाएगा।
पर्यटन उद्योग की अनेक योजनायें जिनमें 218 करोड़ रुपये की 19 योजनायें मनाली, जंजैहली, मण्डी, धर्मशाला, क्यारीघाट, ज्वालामुखी, कांगड़ा, शिमला, भलेई माता चम्बा, बीड़ बिलिंग, हाटकोटी, कांगनीधार, रामपुर और बद्दी में जनता को समर्पित की जायेंगी।
जल जीवन मिशन के कार्य को आगे बढ़ाते हुये तीन और जिलों सोलन, हमीरपुर और बिलासपुर में शत प्रतिशत पीने के पानी के कनेक्शन दिये जाएंगे।
मण्डी हवाई अड्डे के निर्माण और काँगड़ा, कुल्लू व शिमला हवाई अड्डों के विस्तारीकरण के लिए आवश्यक कदम उठाये जाएंगे। 2021-22 में 1,016 करोड़ रुपये का प्रावधान।
रेल विस्तार को गति प्रदान की जाएगी।
8. शिक्षा में गुणवत्ता
राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020’’ का स्वागत और उसके लागू करने का संकल्प।
”टाॅप 100 छात्रवृति योजना“ का शुभारम्भ।
100 स्कूलों में मैथ लैब की स्थापना।
सरकारी स्कूल के बच्चों को प्रतियोगी परीक्षाओं के लिये कोचिंग एवं कैरियर काँउसलिंग सुविधा।
शिक्षा प्रणाली को प्रभावी बनाने तथा इसकी गुणवत्ता बढ़ाने हेतु ‘‘हिम दर्पण शिक्षा एकीकृत पोर्टल’’ की स्थापना।
स्कूल टूर्नामेंटों के प्रतिभागियों की डाइट मनी दोगुनी की गई।
‘‘स्वर्ण जयन्ती ज्ञानोदय क्लस्टर श्रेष्ठ विद्यालय योजना’’, ‘‘स्वर्ण जयन्ती उत्कृष्ट विद्यालय योजना’’ तथा ‘‘उत्कृष्ट योजना’’ के अन्तर्गत क्रमशः 100 क्लस्टर स्कूलों, 68 वरिष्ठ माध्यमिक स्कूलों और 9 महाविद्यालयों को स्मार्ट सुविधाओं से लैस किया जाएगा।
तकनीकी शिक्षा विभाग के 400 करोड़ रुपये के 8 संस्थान जनता को समर्पित किये जायेंगे जो ज्यूरी, सुन्दरनगर, कुमारसेन, अर्की, गंगथ, करसोग, रैहन, बन्दला में स्थित हैं।
9. अन्य
आशा वर्कर, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, मिनी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, आंगनबाड़ी सहायिका, सिलाई अध्यापिका, पंचायत चौकीदार, शिक्षा विभाग के पार्टटाईम वाटर कैरियर और मिड डे मील वर्कर, राजस्व विभाग के अंशकालिक वर्कर और नम्बरदार, जल गार्ड, पैरा फिटर, पम्प ऑपरेटर के मानदेय में वृद्धि।
क्षेत्रीय असमानताओं को दूर करने के लिये नये काॅलेज़, जल शक्ति और लोक निर्माण के क्षेत्रीय कार्यालय, फार्मेसी काॅलेज, विकास खण्ड, तहसील, उप-तहसील, पुलिस थाने, पुलिस चौकियों, अग्निशमन केन्द्र इत्यादि खोले जाएंगे। जहाँ सम्भव होगा मौजूदा संसाधनों का भी उचित प्रयोग किया जाएगा।
‘‘विकास में जन सहयोग’’ कार्यक्रम के अन्तर्गत परिव्ययों को दोगुना किया।
विधायक प्राथमिकताओं की वर्तमान सीमा को 120 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 135 करोड़ किया गया।
नवगठित पंचायतों में पंचायत घरों का निर्माण होगा।
‘समग्र नशा निवारण नीति’ लाने का प्रस्ताव और ‘‘नशा निवारण फण्ड’’ स्थापित करने का निर्णय लिया गया है।
न्यूनतम दिहाड़ी अब 300 रुपये प्रतिदिन की गई।
अंशकालीन कर्मी और आऊटसोर्स कर्मी की दिहाड़ी में भी बढ़ौतरी।
प्रदेश के पुलिस थानों में सीसीटीवी कैमरे लगाये जाएंगे
आऊटसोर्स कर्मियों के शोषण को रोकने के लिये पग उठाये जाएंगे।
बजट में नई योजनाएं
स्वर्ण जयन्ती सम्पर्क संकल्प योजना (सम्पर्क)
स्वर्ण जयन्ती जिला नवाचार निधि
स्वर्ण जयन्ती परम्परागत बीज संरक्षण एवं सम्वर्धन योजना (बीज संरक्षण)
स्वर्ण जयन्ती समृद्ध बागवान योजना (समृद्ध बागवान)
स्वर्ण जयन्ती स्वयं सहायता समूह योजना (सहयोग)
बैंक पत्राचार सखी (सखी)
स्वर्णिम वाटिका
हिम दर्पण शिक्षा एकीकृत पोर्टल (हिम शिक्षा)
स्वर्ण जयन्ती हरित भवन पहल
शगुन
स्वर्ण जयन्ती नारी सम्बल योजना (नारी सम्बल)
नशा सेवन निवारण निधि
बजट 2021-22 में नई नीतियाॅं/पहल
योजना एवं गैर-योजना आधारित बजट वर्गीकरण को वित्त वर्ष 2021-22 से समाप्त करना।
योजना विभाग का नाम बदलकर नीति विभाग करना।
विकास में जन सहयोग योजना के अन्तर्गत परिव्ययों को दोगुना करना।
नाबार्ड के अन्तर्गत डीपीआर प्रस्तुत करने की वित्तीय सीमा को प्रति विधानसभा 120 करोड़ रूपये से बढ़ाकर 135 करोड़ रूपये करना।
विधायक क्षेत्रीय विकास निधि योजना को बहाल करना तथा प्रति विधान सभा क्षेत्र इस निधि को 1.80 करोड़ रूपये तक बढ़ाना।
मन्त्रियों, विधायकों, निगमों/बोर्डाें के अध्यक्षों/उपाध्यक्षों के वेतन एवं मानदेय को 1 अप्रैल से बहाल करना।
सार्वजनिक वितरण प्रणाली की दुकानों पर उपभोक्ता पहचान के लिए आइरिस स्कैनिंग विधि को आरम्भ करना।
दूध के खरीद मूल्य में 2 रू प्रति लिटर की दर से बढ़ोतरी करना।
जलवायु परिवर्तन से कृषि को उन्मुख करने और योजनाओं के पुनर्गठन के लिए कृषि विशेषज्ञ समूह का गठन।
कृषि एवं बागवानी विश्वविद्यालय में अनुसंधान एवं विकास को प्रोत्साहित करने के लिए 5 करोड़ रूपये के अनुसंधान एवं विकास कोष की स्थापना।
बच्चों में विज्ञान, गणित एवं अंग्रेजी बोलने में कौशल बढ़ौतरी हेतु विशेष हस्ताक्षेप तथा गणित प्रयोगशालाओं की स्थापना।
ऑनलाइन एवं ऑफलाइन मोड के माध्यम से प्रतियोगी परीक्षा के लिए स्कूली बच्चों को कोचिंग।
70 वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्गोें एवं बाल आश्रम में रहने वाले बच्चों का निशुल्क नामांकन।
आयुष्मान भारत, हिमकेयर, सहारा, मुख्यमंत्री सहायता कोष, निशुल्क दवाओं पर रूपये 250 करोड़ से अधिक का व्यय।
ऑनलाइन पंजीकरण के लिए सभी उप-पंजीयक कार्यालयों में राष्ट्रीय जेनेरिक दस्तावेज प्रणाली को चालू करना।
राजस्व मामलों के निपटान से सम्बन्धित पुराने एवं निरर्थक नियमों, अधिनियमों एवं प्रक्रियाओं की समीक्षा के लिए समिति का गठन किया गया है।
प्रायोगिक आधार पर जल आपूर्ति एवं अन्य 10 योजनाओं पर पारंपरिक बिजली संचालित पंपों की जगह सौर उर्जा संयत्रों की स्थापना।
स्वावलम्बन योजना के कार्य-क्षेत्र का विस्तार करने के लिए समिति का गठन।
स्वर्ण जयन्ती उर्जा नीति।
पाॅंच गौशालाओं को हरित गौशालाओं के रूप में गोद लेना।
पर्यटन क्षेत्र के लिए व्याज सबवैंशन योजना के दायरे का विस्तार।
पर्यटन को पुर्नजीवित करने के लिए मल्टी मिडिया प्रचार अभियान।
समयवद्ध तरीके से नई गठित पंचायतों सहित सभी पंचायतों को मोटर योग्य सड़क से जोड़ना।
लोक निर्माण विभाग में 5000 मल्टी टास्क पार्ट टाइम कर्मियों की भर्ती।
व्यापार सुविधा केन्द्र स्थापित करना।
वाणिज्यिक भांग की खेती के लिए नीति बनाना।
पुलिस स्टेशनों में महिला सहायता डेस्क स्थापित करना।
पुलिस विभाग में आरक्षियों की सीधी भर्ती में महिलाओं के लिए 25 प्रतिशत आरक्षण।
नए कार्यालय और संस्थान खोलना।
20 साल के सेवाकाल की समाप्ति पर चतुर्थ वर्ग कर्मियों की वेतन विसंगतियों को दूर करना।
चतुर्थ वर्ग के कर्मी अब जेओए (आईटी) पदोन्नति के लिए योग्य हैं।
आउटसोर्स आधार पर सेवाएं लेने के लिए माॅडल निविदा दस्तावेज तैयार करना।