केलांग (लाहौल)। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू रविवार को लाहौल स्पीति जिला के दौरे पर केलांग पहुंचे। यहां उन्होंने विधानसभा चुनाव को लेकर स्थानीय कांग्रेस नेताओं, पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं से फीडबैक लिया।
मुख्यमंत्री ने जनसमूह को संबोधित करते हुए कहा कि लाहौल स्पीति के लोगों की संस्कृति ईमान बेचने की नहीं है। आपके विधायक ने अपना ईमान ही नहीं, धर्म भी बेचा है। बिकाऊ विधायक को दोबारा जिताकर नहीं भेजना है। मेरी लड़ाई कुर्सी की नहीं, आम आदमी के लिए है। मैं खनन माफिया, भू माफिया और नशाखोरी के खिलाफ लड़ रहा हूं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं भ्रष्टाचार के खात्मे के लिए लड़ रहा हूं। आपके विधायक ने ईमानदारी का चोला पहनकर खुद को राजनीतिक मंडी के बाजार में खुद को बेचा है, उन्हें वोट के जरिये सबक सिखाना है। लोकसभा में कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार विक्रमादित्य सिंह हैं और विधानसभा उपचुनाव में जिस भी उम्मीदवार को कांग्रेस पार्टी का टिकट मिलेगा, उन्हें जिताना हैं।
लाहौल स्पीति के पूर्व विधायक कभी उनके पास लाहौल, स्पीति व उदयपुर के विकास के लिए नहीं आए। मुख्यमंत्री के नाते मैंने खुद अत्याधिक बजट दिया है, आगे और भी दिया जाएगा।
लाहौल स्पीति प्रदेश का पहला ऐसा जिला बना है, जिसकी 18 साल से अधिक उम्र की सभी गरीब महिलाओं को 1500 रुपये मिलना शुरू हो गए हैं। एक साल में 18000 रुपये मिलेंगे, आपके केलांग से ही इंदिरा गांधी प्यारी बहना सुख सम्मान निधि की शुरूआत हुई और बावजूद इसके यहां के विधायक बिक गए।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि यह चुनाव लोकतंत्र को बचाने का भी है। भाजपा ने वोट के जरिये बनी सरकार को नोटों के दम पर गिराने और मुख्यमंत्री की कुर्सी हथियाने की साजिश रची है, चुनाव में कांग्रेस पार्टी के पक्ष में मतदान कर उन्हें सबक सिखाना है।
सरकार ने पहली कक्षा से अंग्रेजी मीडियम शुरू कर दिया है ताकि प्रदेश के बच्चे देश का प्रतिनिधित्व कर सकें। लाहौल स्पीति से आपने कांग्रेस का विधायक जिताकर भेजना है, चुनाव परिणाम के बाद वह फिर केलांग आएंगे। सरकार अंतिम व्यक्ति तक विकास पहुंचाने का काम कर रही है। लाहौल स्पीति जिला सरकार की मुख्य प्राथमिकता है।
कांग्रेस उम्मीदवार के लिए संभावित पैनल तैयार
कांग्रेस पार्टी ने लाहौल स्पीति में उम्मीदवार घोषित करने के लिए संभावित नामों का एक पैनल तैयार किया है। जिसमें जिला परिषद चेयरमैन अनुराधा, जिला परिषद उपाध्यक्ष राजेश शर्मा, रतन बौद्ध, दोरजे लारजे, पूर्व विधायक रधुवीर ठाकुर, कुंगा बौद्घ और रपटन बौद्ध इत्यादि शामिल हैं। अंतिम निर्णय कांग्रेस हाईकमान करेगा।