शिमला। हिमाचल प्रदेश स्टेट लीगल सर्विस अथॉरिटी के सदस्य सचिव तथा जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रेमपाल रांटा 26 दिसंबर (रविवार) को मानवाधिकारों पर उमंग फाउंडेशन के साप्ताहिक वेबीनार में विशेषज्ञ वक्ता होंगे।
वह “मानवाधिकार संरक्षण में स्टेट लीगल सर्विस अथॉरिटी की भूमिका” पर व्याख्यान देंगे और युवाओं के सवालों का जवाब भी देंगे।
वेबिनार की संयोजक और हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में बॉटनी में पीएचडी स्कॉलर (जेआरएफ) अंजना ठाकुर ने बताया कि प्रेमपाल रांटा के पास जज के तौर पर न्यायिक सेवा का लंबा अनुभव है। स्टेट लीगल सर्विस अथॉरिटी के माध्यम से उन्होंने मानवाधिकार संरक्षण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
अंजना ठाकुर के अनुसार उमंग फाउंडेशन द्वारा मानवाधिकार संरक्षण पर जागरूकता अभियान के अंतर्गत साप्ताहिक वेबीनारों की शृंखला में जहां 15वां कार्यक्रम है।
इसमें हिमाचल प्रदेश एवं अन्य राज्यों के युवा गूगल मीट के माध्यम से हिस्सा लेते हैं।
इस लिंक http://meet.google.com/rvk-ecvd-orh से कोई भी व्यक्ति 26 दिसंबर को शाम 7 बजे एक घंटे के इस कार्यक्रम में शामिल हो सकता है।
स्टेट लीगल सर्विस अथॉरिटी मुख्य रूप से समाज के कमजोर वर्गों को मुफ्त कानूनी सहायता उपलब्ध कराता है। इसके साथ ही वह समाज में कानूनी मामलों पर जागरूकता के अभियान भी चलाता है।