शिमला। एसजेवीएन द्वारा कारपोरेट मुख्यालय, शिमला के सभी कर्मचारियों के लिए डॉ गौर गोपाल दास की प्रेरणापूर्ण वार्ता का आयोजन किया गया। एसजेवीएन के दूरद्रष्टा अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक नन्द लाल शर्मा द्वारा मूल रूप से प्रेरित यह वार्ता उन गतिविधियों में से एक है, जो एसजेवीएन के कर्मचारियों को उच्च दक्षता हासिल करने की दिशा में प्रेरित और उर्जित करने के लिए आयोजित की जा रही हैं।
25000 मेगावाट की क्षमता से युक्त कंपनी बनाने के सांझे विज़न को प्रेरित करने के लिए हुआ आयोजन
इस श्रृंखला की गतिविधियों के आयोजन का उद्देश्य, कर्मचारियों को एसजेवीएन को सन 2040 तक एक 25000 मेगावाट की क्षमता से युक्त कंपनी बनाने के सांझे विज़न को पूरा करके राष्ट्र निर्माण के कार्य में योगदान देने के लिए प्रेरित करना है।
भारत और विदेश में विभिन्न स्थानों जैसे हिमाचल प्रदेश, बिहार, उत्तराखंड, गुजरात, महाराष्ट्र, नेपाल तथा भूटान में तैनात एसजेवीएन के सभी कर्मचारियों के लिए इस वार्ता का सीधा प्रसारण किया गया।
मोटिवेशनल स्पीकर एवं लाइफ ट्रेनर डॉ गौर गोपाल दास ने एसजेवीएन कर्मचारियों को उनके प्रोफेशनल एवं व्यक्तिगत उद्देश्यों को पूरा करने में सक्षम बनाने के लिए प्रेरणास्पद संभाषण दिया।
अपनी प्रेरणा-वार्ता में डॉ गौर ने इस बात पर बल दिया की आत्म-प्रेरणा, आत्म-प्रतिस्पर्धा तथा वर्क-लाईफ बैलेंस बनाए रखना आत्म उत्कृष्टता प्राप्त करने में केंद्रीय भूमिका निभाता है।
डॉ गौर ने बताया कि प्रोफेशनल के साथ-साथ व्यक्तिगत जीवन में हमेशा चुनौतियां बनी रहती हैं और सफलता हासिल करने के लिए हमें स्थिर कारकों के बजाय स्थितिपरक परिवर्तनीय कारकों पर अपना ध्यान केंद्रित करना चाहिए।
अपने संबोधन में नन्द लाल शर्मा ने कहा कि वर्तमान विश्व विचारों के आधार पर अग्रसर है और केवल उच्च प्रेरित और सृजनशील व्यक्ति ही आज के अति प्रतिस्पर्धी माहौल में अपना अस्तित्व बना कर रख सकेंगे।
उन्होंने सन 1990 में शुरू हुई एसजेवीएन की उन्नति यात्रा की याद दिलाई जो लगभग 3000 कर्मचारियों के साथ 1500 मेगावाट के पोर्टफोलियो के साथ शुरू हुई थी, जो अब सिर्फ 1500 कर्मचारियों के साथ लगभग 9000 मेगावाट तक पहुंच गई है।
नंदलाल शर्मा ने कहा कि पिछले 2 वर्षों में एसजेवीएन को भारत तथा विदेश में 8 परियोजनाएं आबंटित की गई हैं। आज एसजेवीएन की 2016.15 मेगावाट की परियोजनाएं प्रचालनाधीन है तथा लगभग 3000 मेगावाट क्षमता की 5 परियोजनाएं निर्माणवस्था में है।
उन्होंने एसजेवीएन की मजबूत टीम में अपना विश्वास फिर दोहराया, जो सन 2023 तक 5000 मेगावाट, सन 2030 तक 12000 मेगावाट तथा सन् 2040 तक 25000 मेगावाट कंपनी बनने के सांझे विज़न को पूरा करेगी।
शर्मा ने आगे बताया कि दीर्घ स्वप्न और महत्वकांक्षी विज़न को साकार करने के लिए एसजेवीएन कर्मचारियों को चुनौतियां स्वीकार करने के लिए अवश्य ही तैयार रहना चाहिए।
उन्होंने सभी कर्मचारियों का आह्वान किया कि वे दुर्गम क्षेत्रों में तैनाती के लिए तैयार रहें और एसजेवीएन के सांझे विजन को पूरा करने के लिए अपने सर्वोत्तम प्रयास जारी रखें। उन्होंने इस बात पर बल दिया की एसजेवीएन का लक्ष्य उद्देश्यों को पूरा करने के लिए सही दिशा में त्वरित प्रयास करना है।
डॉ गौर गोपाल दास ने इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में डिग्री के साथ कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग पुणे से ग्रेजूएशन की है, जिसके बाद उन्होंने हेवल्ट पैकर्ड में विद्युत इंजीनियर के रूप में कार्य किया।
उसके पश्चात वे हेवलेट पैकर्ड को छोड़कर इस्कॉन में शामिल हो गए। उन्होंने विविध पुस्तकें लिखी हैं और कलिंगा इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंडस्ट्रियल टेक्नोलॉजी (केआईआईटी) से मानद डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की है।