कृषि व्यापार को सुगम बना रहा ई-नाम, 23 राज्यों और 4 केंद्र शासित प्रदेशों की 1389 मंडियां एकीकृत

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1.77 करोड़ से अधिक किसान और 2.53 लाख व्यापारी पंजीकृत

शिमला। राष्ट्रीय कृषि बाजार (ई-नाम) एक अखिल भारतीय इलेक्ट्रॉनिक ट्रेडिंग पोर्टल है, जो मौजूदा एपीएमसी मंडियों को जोड़कर कृषि उत्पादों के लिए एकीकृत राष्ट्रीय बाजार बनाता है।

इस पहल की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 14 अप्रैल 2016 को की थी। ई-नाम प्लेटफॉर्म किसानों को ऑनलाइन प्रतिस्पर्धी और पारदर्शी मूल्य खोज प्रणाली और ऑनलाइन भुगतान सुविधा के माध्यम से अपने उत्पाद बेचने के लिए बेहतर विपणन अवसरों को बढ़ावा देता है।

ई-नाम पोर्टल एपीएमसी संबंधित सभी जानकारी और सेवाओं के लिए एकल खिड़की के माध्यम से सेवाएं प्रदान करता है। इसमें उत्पादों का लाना, गुणवत्ता और मूल्य, खरीद और बिक्री ऑफ़र और सीधे किसानों के खाते में ई-भुगतान निपटान शामिल हैं।

23 राज्यों और 4 केंद्रशासित प्रदेशों की कुल 1389 मंडियों को ई-नाम प्लेटफॉर्म पर एकीकृत किया गया है।

1.77 करोड़ से अधिक किसानों और 2.53 लाख से अधिक व्यापारियों ने ई-नाम प्लेटफॉर्म पर (11 फरवरी 2024 तक) पंजीकरण कराया है।

ई-नाम प्लेटफॉर्म पर दिसंबर 2023 तक कुल मिलाकर 8.96 करोड़ मीट्रिक टन वस्तुओं और 30.99 करोड़ बांस, पान के पत्ते, नारियल, नींबू और मीठे मकई जैसी वस्तुओं का कारोबार लगभग 3.19 लाख करोड़ रुपये का हुआ है।

3510 किसान उत्पादक संगठनों (FPO) को ई-नाम प्लेटफॉर्म पर पंजीकृत किया गया है।

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