शिमला। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में आज हुई राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में पशु मित्र नीति- 2025 को मंजूरी दी गई। इस नीति के तहत पशुपालन विभाग में मल्टी टास्क वर्कर्स (पशु मित्रों) के 1,000 पद भरे जाएंगे।
स्कूल पुस्तकालयों के सुचारू संचालन को सुनिश्चित करने के लिए शिक्षा विभाग में जूनियर ऑफिस असिस्टेंट (लाइब्रेरी) के 100 पद भरने को मंजूरी दी गई। इसके अतिरिक्त, राजस्व विभाग में वरिष्ठ सहायक के 10 पद और जूनियर ऑफिस असिस्टेंट (आईटी) के 15 पद सृजित करने को मंजूरी दी गई। मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश राज्य परिवहन अपीलीय न्यायाधिकरण हमीरपुर में विभिन्न श्रेणियों के पांच पदों को भरने को भी मंजूरी दी।
आयुष विभाग में बैचवाइज आधार पर आयुर्वेदिक फार्मेसी अधिकारी के पांच पद भरने का निर्णय लिया गया।
राज्य भर के गौसदनों में रखे गए गौवंश के लिए चारा अनुदान को 700 रुपये प्रति पशु प्रति माह से बढ़ाकर 1200 रुपये करने को मंजूरी दी गई।
मंत्रिमंडल ने ऑपरेशन थियेटर सहायकों के मासिक मानदेय को 17,820 रुपये से बढ़ाकर 25,000 रुपये करने तथा रेडियोग्राफरों और एक्स-रे तकनीशियनों के मासिक मानदेय को 13,100 रुपये से बढ़ाकर 25,000 रुपये करने को मंजूरी दी।
राज्य में वास्तविक वन क्षेत्रों को बढ़ाने के लिए सीएसआर के तहत निजी उद्यमियों द्वारा बंजर वन भूमि पर वृक्षारोपण के लिए मुख्यमंत्री हरित दत्तक ग्रहण योजना को मंजूरी दी गयी।
नगर निगम शिमला में घाटी की ओर भवनों के निर्माण को प्रतिबंधित करने के लिए हिमाचल प्रदेश नगर एवं ग्राम नियोजन नियम, 2014 में संशोधन को मंजूरी दी।
नए प्रावधान के अनुसार, ऐसे निर्माण सड़क स्तर से कम से कम एक मीटर नीचे होने चाहिए, जिसका उद्देश्य आगंतुकों के लिए घाटी के सौंदर्य आकर्षण को संरक्षित करना है।
कैबिनेट ने शिमला जिले में माता तारा देवी मंदिर के निकटवर्ती वन क्षेत्र को शिमला विकास योजना के हरित क्षेत्र के अंतर्गत लाने का भी निर्णय लिया।
बैठक में राजीव गांधी स्वरोजगार स्टार्ट-अप योजना- 2023 के तहत ई-टैक्सियों को किराये पर लेने के लिए व्यापक दिशा-निर्देश तैयार करने को भी मंजूरी दी गई।
मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश लोक निर्माण विभाग में डिजाइन विंग को सिविल विंग के साथ विलय करने को मंजूरी दी, ताकि विभाग के कामकाज को सुव्यवस्थित किया जा सके और परिचालन दक्षता में सुधार हो सके।
बैठक में कुल्लू जिले के निरमंड विकास खंड में पशु औषधालय सराहन का नाम बदलकर पशु औषधालय बागा सराहन करने को भी मंजूरी दी गई।