हमीरपुर। भाजपा के सत्ता में आने के बाद सुजानपुर विधानसभा क्षेत्र में ठप्प पड़े विकास कार्यों को लेकर प्रदेश कांग्रेस उपाध्यक्ष एवं सुजानपुर के विधायक राजेंद्र राणा के सब्र का बांध टूट गया है।
मिनी सचिवालय व टाऊन हाल सहित अन्य बड़ी योजनाओं के ठंडे बस्ते में पड़ने के बाद ग्रामीण क्षेत्रों के विकास कार्यों में हुई देरी पर विधायक राजेंद्र राणा ने सवाल उठाते हुए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से व्यक्तिगत रूप से शिकायत की है।
विकास कार्यों की लेटलतीफी के बारे में जारी प्रैस विज्ञप्ति में उन्होंने कहा कि छंब से कुजा दी बल्ल वाया रोपड़ी व भराइयां दी धार से ठाणा टिक्कर के संपर्क मार्गों के लिए विधायक प्राथमिकता में नाबार्ड के तहत वर्ष 2017 में बजट स्वीकृत हुआ था, लेकिन 4 साल बाद भी कार्य पूरे नहीं हो पाए हैं।
जूं की चाल चल रहे इन कार्यों के लटकने के पीछे का आखिर राज क्या है। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या कारण है कि मुख्यमंत्री के अधीन आने वाले लोक निर्माण विभाग में ही तय समयावधि में कार्य पूरे नहीं हो रहे हैं।
संबंधित विभाग कार्यों को परखने व उनकी निगरानी के लिए क्या नियम अपना रहा है। उन्होंने कहा कि समय पर काम पूरा न करने पर संबंधित ठेकेदारों पर क्या विभागीय कार्यवाही हुई है, उससे अवगत करवाया जाए।
अगर कोई कार्यवाही या पैनल्टी नहीं लगाई है तो नियम न मानने की छूट ठेकेदारों को किसने दी और इनको सरंक्षण देने के पीछे किसका हाथ है, इसकी जांच जरूरी है।
उन्होंने कहा कि 4 साल में कार्य पूरा न होने पर महंगाई के इस जमाने में कार्य की लागत कई गुणा बढ़ जाएगी तो उसकी भरपाई भी जनता की जेब से होगी। आखिर जनता भी कब तक सहन करेगी।
उन्होंने कहा कि ऐसी संकीर्ण मानसिकता से साबित होता है कि भाजपा के स्थानीय लोग विधानसभा चुनाव की हार की खुन्नस विकास कार्यों में अड़चनें डालकर निकाल रहे हैं।
उन्होंने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से आग्रह किया कि वह स्वयं इस मामले में हस्तक्षेप कर आवश्यक कार्यवाही अमल में लाएं। यह भी पता लगाया जाए कि आखिर इनके वो लोग कौन हैं जोकि विकास कार्यों में रोड़ा बनकर सरकार की छवि को और ज्यादा बिगाड़ रहे हैं।