स्मार्ट सिटी के काम समय पर पूरे करने के निर्देश
शिमला। आवास एवं शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने आज शिमला में हिमाचल प्रदेश आवास एवं नगर विकास प्राधिकरण (हिमुडा) के कार्यों की समीक्षा की। मंत्री ने निर्देश दिए कि प्रदेश में बेहतर आवासीय काॅलोनियां बनाने के लिए आवास क्षेत्र में निजी निवेश आकर्षित करने के लिए और हिमुडा को अपने भूमि बैंक के बेहतर प्रयोग करने के लिए कदम उठाएं।
भारद्वाज ने कहा कि इसके लिए हिमुडा उपाध्यक्ष प्रवीण शर्मा की अध्यक्षता में एक समिति गठित की है। मंत्री ने निर्देश दिए कि समिति शीग्र अपनी रिपोर्ट दे जिसके आधार पर हिमुडा की ज़मीनो का उपयोग सही दिशा में हो सके।
मंत्री ने समिति को व्यावसायिक दृष्टिकोण अपनाने के भी निर्देश दिए। मंत्री ने कहा कि हिमुडा द्वारा खरीदी हुई ज़मीनो का बेहतर उपयोग होना चाहिए जिस से बेहतर आवास के साथ साथ प्रदेश को लाभ भी हो।
पिछले तीन वर्षो के दौरान हिमुडा ने 108 फ्लैटों का निर्माण 21.41 करोड़ रुपये की लागत से पूरा किया व परवाणु और सोलन में वाणिज्यिक परिसरों का 10.80 करोड़ रुपये की लागत से निर्माण पूरा किया है।
इसके अतिरिक्त 91.42 करोड़ रुपये की लागत से विभिन्न विभागों जैसे कि स्वास्थ्य, शिक्षा, पुलिस, आयुर्वेद, षहरी विकास, खेल और युवा सेवाएं, हिमाचल प्रदेष राज्य परिवहन निगम, आबकारी एवं कराधान, तकनीकी षिक्षा आदि के निक्षेप कार्यों को भी पूरा किया गया है।
वर्तमान सरकार के कार्यकाल में हिमुडा ने आवसीय एवम् औद्योगिक प्रोपर्टी से 130 करोड़ रूपये का राजस्व प्राप्त किया गया है। हिमुडा के 466 प्लाॅट व 356 फ्लैट विक्रय के लिए तैयार है।
देहरा में 7 करोड़ रुपये की लागत से पौंग व्यू आवासीय काॅलोनी का निर्माण षीघ्र षुरू करने के निर्देष दिये गये जिसमें विभिन्न श्रेणी के 90 प्लाॅटों का निर्माण किया जाएगा तथा पालमपुर के लोहना काॅलोनी में 11 करोड़ रुपये की लागत से केटगरी-1 के 16 फ्लैटों का निर्माण किया जाएगा और निविदाएं आमंत्रित करने की प्रक्रिया षीघ्र ही की जाएगी ताकि कार्य शुरू किया जा सके।
परवाणु व बद्दी में उद्योगों की मांग को देखते हुए औद्योगिक प्लाॅटों को निलाम करने की तैयारी है। इन स्थानों में उद्योगों की मांग को देखते हुए बड़े प्लाॅटों को छोटे औद्योगिक प्लाॅटों में परिवर्तित करने का मंत्री द्वारा निर्देष दिए गए हैं।
हिमुडा की जमीनों को दूसरें विभागों जैसे आयकर विभाग, राज्य बीमा निगम, उत्पाद षुल्क और कराधान सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क व केन्द्रीय विश्वविद्यालय कागड़ा इत्यादि को बेचने के प्रयास किए जा रहे हैं ताकि हिमुडा को राजस्व प्राप्त हो सके।
इसके अलावा मंन्त्री द्वारा विभाग को निर्देश दिए गए कि जो भी हिमुडा को डिपाॅजिट कार्य दिए गये हैं उन्हें समयावधि में पूरा करें और विभाग द्वारा जो पैसा जमा करवाया गया है या करवाना है, उसी जमा राशि में कार्य को पूर्ण करें। शिमला स्मार्ट सिटी और धर्मशाला स्मार्ट सिटी के कार्यों को समय पर पूरा करने के भी निर्देश दिए गए।